1984सिख दंगों के दोषी पूर्व कांग्रेस नेता सज्जन कुमार ने सोमवार को दिल्ली की कड़कड़डूमा अदालत में सरेंडर कर दिया. उन्हें मंडोली जेल में भेजे जाने की तैयारी है. अभी हाल में दिल्ली हाईकोर्ट ने सज्जन कुमार को दंगे का दोषी ठहराते हुए उन्हें आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी. सज्जन कुमार ने सरेंडर की तारीख में कुछ मोहलत देने की गुहार लगाई थी जिसे कोर्ट ने नकार दिया था.
सज्जन कुमार के वकील ने बताया कि उनके मुवक्किल को राहत मिलने की संभावनाएं काफी कम हैं क्योंकि सुप्रीम कोर्ट में 1जनवरी को छुट्टियां खत्म हो रही हैं जिससे उनकी अपील पर सुनवाई की उम्मीद नहीं है. सज्जन कुमार के वकील ने कहा, 'हम हाईकोर्ट के फैसले पर अमल करेंगे.' बीते 17दिसंबर को दिल्ली हाईकोर्ट ने कांग्रेस नेता सज्जन कुमार को सिख दंगे का दोषी ठहराते हुए ताउम्र कारावास की सजा सुनाई थी. अपने फैसले में अदालत ने कहा था कि '1984दंगे में राष्ट्रीय राजधानी में 2700सिखों की हत्या की गई और यह घटना अविश्वसनीय नरसंहार थी.' कोर्ट ने इस घटना को 'मानवता के खिलाफ अपराध' बताया और कहा कि इसके पीछे वैसे लोग थे जिन्हें राजनीतिक संरक्षण प्राप्त था और कानून का पालन करने वाली एजेंसियों ने भी इनका साथ दिया.
कोर्ट ने अपने फैसले में इस बात का जिक्र किया कि देश के बंटवारे के समय से ही मुंबई में 1993 में, गुजरात में 2002 और मुजफ्फरनगर में 2013 जैसी घटनाओं में नरसंहार का यही तरीका रहा है और प्रभावशाली राजनीतिक लोगों के नेतृत्व में ऐसे हमलों में 'अल्पसंख्यकों' को निशाना बनाया गया और कानून लागू करने वाली एजेंसियों ने उनकी मदद की.11111111
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