रांची : बिरसा मुंडा एयरपोर्ट पर सभी तरह के उपकरणों और संसाधनों को व्यवस्थित रखने के लिए भारतीय विमानन प्राधिकार को काफी मशक्कत करनी पड़ रही है. झारखंड राज्य बिजली बोर्ड की खराब बिजली आपूर्ति की वजह से एयरपोर्ट का पूरा सिस्टम जेनरेटर के सहारे चल रहा है. पिछले दो दिनों से राजधानी में बिजली की स्थिति काफी खराब हो गयी है. दो दिनों तक 30घंटे से अधिक समय तक विद्युतापूर्ति बाधित रही. इसका सबसे ज्यादा असर एयरपोर्ट पर पड़ा. एयरपोर्ट से देश भर के प्रमुख शहरों के लिए 35सौ लोग रांची से रवाना होते हैं. इसमें टिकट बुकिंग, पूरे वेटिंग एरिना में एयरकंडिशनिंग व्यवस्था, बिजली की लाइटिंग, टिकट बुकिंग काउंटर से लेकर विमान तक लगेज ले जाने, एक्सरे मशीन संचालित करने, पानी की आपूर्ति, एयर ट्रैफिक कंट्रोल से विमानों के यातायात को नियंत्रित करने का काम" सभी चीजें बिजली पर निर्भर है.
पांच जेनेरेटर लगे हैं एयरपोर्ट पर
प्राधिकार की तरफ से वैकल्पिक व्यवस्था के तहत 750केवीए का पांच जेनेरेटर लगातार तीन दिनों से चलाया जा रहा है. इससे एयरपोर्ट प्रबंधन को एक हजार लीटर से अधिक का डीजल भी डीजी सेटों पर खर्च करना पड़ रहा है. यात्रियों को किसी तरह की असुविधा न हो. इसकी व्यवस्था डीजी सेट के जरिये ही संचालित की जा रही है. इतना ही नहीं एयरपोर्ट परिसर में कराये गये डीप बोरिंग औरसरकारी जलापूर्ति व्यवस्था से होनेवाली आपूर्ति को टंकियों तक पहुंचाने का काम भी डीजी सेट के द्वारा किया जा रहा है.
रांची के बिरसा मुंडा एयरपोर्ट में सौर ऊर्जा पैनल से वैकल्पिक बिजली की व्यवस्था करने का प्रस्ताव तैयार किया गया है. अनियमित बिजली आपूर्ति से हमारा ऑपरेटिंग कास्ट बढ़ रहा है. पर लोगों को दिक्कतों का सामना न करना पड़े, इस पर भी बारीकी से नजर रखी जा रही है.
प्रभात रंजन, निदेशक, एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया, रांची
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