रामगढ़. कोरोना संक्रमण का खौफ ऐसा कि लोग अपनों से भी परहेज करने लगे हैं. जिले में कोरोना के खौफ से पानी लेने से रोकने का सनसनीखेज मामला सामने आया. इसके चलते पीड़ित परिवार को पांच दिन तक भूखे रहना पड़ा, क्योंकि घर में खाना नहीं बन पाया. हालांकि बच्चों के रोने पर गांववालों ने बाद में उन्हें खाना दिया. अब पुलिस की पहल पर पीड़ित परिवार चापानल से पानी ले पा रहा है. घटना गोला थाना के मुरुडीह गांव की है.
कोरोना संक्रमित होने के शक पर ग्रामीणों ने किया प्रताड़ित
इस सिलसिले में पीड़ित महिला गीता देवी ने बताया कि गांव के कुछ लोग उसे पांच दिन से प्रताड़ित कर रहे थे. कुएं या चापानल से पानी नहीं लेने देते थे. पानी नहीं रहने के कारण उसके घर में खाना नहीं बन पा रहा था. भूखे रहने के चलते जब बच्चे रोने-चिल्लाने लगे, तो दूसरे ग्रामीणों ने उन्हें खाना दिया. लेकिन घर पर आकर नहीं, बल्कि थोड़ी दूर पर रख दिया.
महिला के मुताबिक गांववालों का कहना है कि उसका देवर छत्तीसगढ़ से उसके पास आया था. इसलिए उसके पूरे परिवार को कोरोना हो गया है. जबकि देवर छत्तीसगढ़ से आया ही नहीं. दरअसल महिला एक दिन के लिए अपने मायके धमनाटांड-गोला गयी थी. वहां से गांव लौटने के बाद उसके साथ ये प्रताड़ना शुरू हो गया. महिला अपने पति और दो बच्चों के साथ गांव में रहती है.
बुधवार को जब इस परिवार का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ, तो गोला थाने की पुलिस गांव पहुंचकर ग्रामीणों से पूछताछ की. साथ ही प्रताड़ित करने वालों पर कार्रवाई की चेतावनी देकर महिला को चापानल से पानी दिलाया. पुलिस ने लोगों को समझा बुझाकर आगे भी पानी लेने देने का निर्देश दिया.
|